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हर महीने 2100, दो सिलेंडर मुफ्त और UCC के दायरे से बाहर आदिवासी, अमित शाह ने झारखंड में खोली वादों की पोटली

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झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने रविवार को अपना संकल्प पत्र जारी कर दिया. इस संकल्प पत्र में बीजेपी ने 25 वादे किए हैं. इसमें कहा गया है कि बीजेपी झारखंड में यूनिफॉर्म सिविल कोड यानी समान नागरिक संहिता (UCC) लागू करेगी. मगर यूसीसी से आदिवासी समुदाय को बाहर रखा जाएगा. संकल्प पत्र जारी करते हुए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि यह संकल्प पत्र करोड़ों झारखंडवासियों से चर्चा कर बना है. इस संकल्प पत्र में झारखंड के लोगों की उम्मीद है. हम झारखंड को विकास के रास्ते पर ले जाएंगे. हम झारखंड में कुशासन और भ्रष्टाचार का अंत करेंगे. हम माटी, बेटी और रोटी की सुरक्षा करेंगे.

ये रहे BJP के 25 संकल्प
हम ‘गोगो दीदी योजना’ के माध्यम से हर महीने की 11 तारीख को झारखंड की सभी महिलाओं के बैंक खाते में 2100 रुपये प्रदान करेंगे.

हम राज्य के सभी परिवारों को 500 रुपये में एलपीजी गैस के दो सिलेंडर मुफ्त प्रदान करेंगे.

हम पांच साल के अंदर झारखंड के युवाओं के लिए 5 लाख स्वरोजगार के अवसर सृजन करेंगे. इसके अलावा 2,87,500 सरकारी पदों पर निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से भर्ती सुनिश्चित करेंगे. इसके लिए पहली कैबिनेट बैठक में भर्ती की प्रक्रिया शुरू करेंगे और नवंबर 2025 तक 1.5 लाख पदों पर भर्ती की प्रक्रिया पूरी करेंगे.

सभी परीक्षाओं के लिए एक वार्षिक कैलेंडर प्रस्तुत करेंगे. हर साल 1 लाल झारखंडी युवाओं के लिए स्वरोजगार के अवसर प्रदान करेंगे.

हम झारखंड के हर स्नातक और स्नातकोत्तर युवा, जो अपना करियर बनाने के लिए संघर्षरत हैं, उन्हें दो वर्षों की अवधि के लिए प्रति माह 2000 रुपये ‘युवा साथी’ भत्ता प्रदान करेंगे.

हम झामुमो सरकार में व्याप्त वर्षों के कुशासन को खत्म 5 करेंगे और सभी के लिए आवास सुनिश्चित करेंगे. हम झारखंड के प्रत्येक नागरिक को घर बनाने के लिए निशुल्क बालू उपलब्ध कराएंगे. 21 लाख घरों के लिए पीएम आवास योजना का पूर्ण कार्यान्वयन सुनिश्चित करेंगे, जिसमें प्रति घर 11 लाख की बढ़ी हुई वित्तीय सहायता भी शामिल होगी. 2027 तक जल जीवन मिशन के पूर्ण कार्यान्वयन के माध्यम से शेष 59 लाल घरों में नल जल कनेक्शन प्रदान करेंगे.

हम झारखंड में सरकारी पदों पर नियुक्ति में पारदर्शिता और अभ्यर्थियों को न्याय सुनिश्चित करने के लिए जेएसएससी सीजीएल परीक्षा को रद्द करेंगे और पूर्वगत सीजीएल परीक्षा की सीबीआई जांच कराएंगे. सभी प्रमुख पेपर लीक, विषेशकर पीजीटी, लैब असिस्टेंट, एवं 11वीं जेपीएससी के मामलों में सीबीआई जांच शुरू करेंगे. 30 दिनों के भीतर जेपीएससी अध्यक्ष की नियुक्ति करेंगे.

हम झारखंड में अवैध बांग्लादेशी घुसपैठ को रोकने और आदिवासी समुदायों के अधिकारों की रक्षा के लिए ठोस कदम उठाएंगे. संथाल परगना सहित पूरे झारखंड में सख्त कानूनी प्रक्रिया लागू कर अवैध घुसपैठ पर पूर्ण विराम लगाएंगे. घुसपैठियों द्वारा कब्जाई आदिवासी जमीन को वापस लौटाने के लिए कानून बनाएंगे. यह सुनिश्चित करेंगे कि आदिवासी महिलाओं से शादी करने वाले पुसपैठियों के बच्चों को आदिवासी दर्जा न दिया जाये ताकि आदिवासी समुदायों की भावी पीढ़ी अपने अधिकारों का वास्तविक लाभ ले सके.

हम महिला सशक्तिकरण के लिए ₹50 लाख तक मूल्य की अचल संपत्ति के पंजीकरण के लिए एक रुपये की स्टांप ड्यूटी को पुनः बहाल करेंगे.

हम बीएड, नर्सिंग और अन्य व्यावसायिक पाठ्यक्रमों के लिए सरकारी संस्थानों में निःशुल्क शिक्षा प्रदान करेंगे और निजी संस्थानों में ट्यूशन फीस के खर्च को वहन करेंगे.
हम झारखंड में ‘विस्थापन से पहले पुनर्वास’ सुनिश्चित करने के लिए सेवानिवृत्त न्यायाधीश की अध्यक्षता में एक पुनर्वास आयोग का गठन करेंगे.

हम आदिवासी सम्मान एवं अस्मिता को बनाए रखने और बढ़ावा देने के लिए राज्य में प्रत्येक आदिवासी धार्मिक और सांस्कृतिक स्थल के विकास के लिए और गांव स्तर पर पर्यो और लोक आयोजनों के लिए अनुदान सहायता देंगे.आदिवासी माषाओं, इतिहास, कला और संस्कृति को संरक्षित करने और बढ़ावा देने के लिए ₹500 करोड़ खर्च कर सिद्धो-कान्हो शोथ केंद्र स्थापित करेंगे. गांवों में स्मारकों, सूचना केंद्रों और प्रदर्शनियों के माध्यम से बिरसा मुंडा, सिद्धो-कान्हो और नीलाम्बर-पीताम्बर जैसे आदिवासी नायकों को सम्मानित करेंगे.
हम ‘फूलो-झानो पढ़ो बिटिया’ योजना के तहत राज्य के 12 गरीब और पिछड़े वर्ग की प्रत्येक बालिका को केजी से पीजी (KG to PG) तक मुफ्त शिक्षा प्रदान करेंगे.

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हम ‘मातृत्व सुरक्षा योजना’ के तहत प्रत्येक गर्भवती महिला को 6 पोषण किट और ₹21,000 की सहायता प्रदान करेंगे.

हम राज्य में स्वास्थ्य व्यवस्था में सुधार के लिए एक व्यापक आधारभूत ढांचा विकसित करेंगे, जिसके अन्तर्गत झारखंड में 10 नए सरकारी मेडिकल कॉलेज और राज्य के प्रत्येक जिले में एक नर्सिंग प्रशिक्षण कोलेज स्थापित करेंगे. ‘आयुष्मान भारत जीवन धारा योजना’ से सभी 70 वर्ष से ऊपर के व्यक्तियों को ₹10 लाख तक निःशुल्क स्वास्थ्य सेवा प्रदान करेंगे, जिसमें आयुष्मान भारत के 25 लाख के अतिरिक्त राज्य द्वारा 25 लाख की सहायता दी जाएगी. सीएचसी, पीएचसी और अन्य सरकारी अस्पतालों में 25,000 नए बेड की सुविधा उपलब्ध कराएंगे.

हम झारखंड में सुशासन सुनिश्चित करने के लिए मौजूदा सरकार के व्यापक कुशासन और भ्रष्टाचार के खिलाफ ‘जीरो टॉलरेंस नीति को लागू करेंगे एवं एक जांच आयोग का गठन करेंगे. हम 2 सालों के मीतर नक्सलवाद का खात्मा करेंगे. एडवांसा टेक सबैलन्स मेकनिज़म और एक मजबूत कानूनी ढांचे के माध्यम से राज्य में अवैध खनन पर अंकुश लगाएंगे. हम 181 सीएम संवाद हेल्पलाइन को पुनः बहाल करेंगे. पंचायती राज व्यवस्था को और सशक्त बनाने के लिए मुखियाओं का मासिक वेतन 15,000 तक बढ़ाएंगे.

हम झारखंड को 2027 तक मानव तस्करी मुक्त बनाने के लक्ष्य को ध्यान में रखकर ‘ऑपरेशन सुरक्षा’ शुरू करेंगे, जिसका ध्यान मानव तस्करी की रोकथाम, बचाव और पुनर्वास पर होगा. हम सभी क्षेत्रीय भाषाओं में तत्काल सहायता और जानकारी के लिए 24/7 टोल-फ्री एंटी-ट्रैफिकिंग हेल्पलाइन लॉन्च करेंगे. हम पीड़ितों के लिए एक विशेष सहायता और पुनर्वास कोष का गठन करेंगे, जो उन्हें आर्थिक सहायता, कानूनी समर्थन और आजीविका के अवसर प्रदान करेगा.

हम ‘कृषक सु-नीति’ शुरू करेंगे, जिसके तहत हम धान की खरीद की दर को ₹3,100 प्रति क्विंटल तक बढ़ाएंगे.बिना कटनी-छटनी के पूरे वजन का पैसा खरीद के 24 घंटे के भीतर DBT के माध्यम से भुगतान करेंगे. छोटे और सीमांत किसानों एवं पशुपालकों की भूमि पर ₹5,000 प्रति एकड़ ₹25,000 तक प्रदान करने के लिए ‘कृषि आशीर्वाद योजना’ को फिर से शुरू करेंगे.2030 तक राज्य में सिचाई क्षेत्र को तीन गुना तक बढ़ाएंगे.

हम सरकारी नौकरियों और शैक्षणिक संस्थानों में एससी/ एसटी आरक्षण यथावत रखते हुए अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के लिए 27% आरक्षण के लिए प्रतिबद्ध हैं. साथ ही कानूनी अड़चनों को हटाएंगे.

हम झारखंड को परिवहन नेटवर्क के सहज एकीकरण के माध्यम से जोड़ेंगे. हम एक विश्वस्तरीय ‘डायमंड क्यॉड्रिलैटरल एक्सप्रेसवे का निर्माण करेंगे, जो पश्चिमी से पूर्वी झारखंड तक फैलेगा, और पलामू, हजारीबाग, धनबाद और गुमला जैसे प्रमुख क्षेत्रों को जोड़ेगा.हम प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत 25,000 किमी मजबूत, सभी मौसमों के लिए अनुकूल सड़कें बनाएंगे, और यह सुनिश्चित करेंगे कि झारखंड का हर गांव मुख्य मार्ग से जुड़े.हम राज्य के सभी जिला मुख्यालयों को राजधानी रांची से रेल नेटवर्क द्वारा ओड़ेंगे.

हम देश भर के सभी प्रमुख शहरों में ‘झारखंड जोहार भवन’ स्थापित करेंगे ताकि राज्य के बाहर रहने वाले झारखंडियों को अन्य राज्यों में सुविधाएं, सुरक्षा की गारंटी और आपातकालीन समय पर सहायता प्रदान की जा सके.

हम वृद्ध, विधवा और दिव्यांगों के लिए मासिक पेंशन को ₹2,500 तक बढ़ाएंगे, जिससे उनकी वित्तीय और सामाजिक सुरक्षा सुनिश्चित होगी.
हम ग्रामीण आजीविका को बढ़ावा देने के लिए: न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) तंत्र के अंतर्गत अरहर और महुआ को शामिल करेंगे. हर आदिवासी ब्लॉक में प्रसंस्करण और भंडारण केंद्र स्थापित करेंगे, ताकि केंदू पत्ता, महुआ, और मशरूम जैसे वन उत्पादों को मूल्यवर्धन किया जा सके. बड़े आकार के आदिवासी बहुपरकारी समितियों (लैम्प्स) का गठन करेंगे, ताकि जनजातीय उत्पादों के लिए ऋण सहायता और बाजार उपलब्ध करवाए जा सकें.वन-आधारित समुदायों को महुआ, केंटू पत्ते, लाह, इमली, साल बीज, और चिरौंजी जैसे प्रमुख वन उत्पादों की खरीद करेंगे.

हम आदिवासी समुदायों को सभी अधिकारों की गारंटी देंगे और उनकी अस्मिता की रक्षा करने के लिए यह सुनिश्चित करेंगे कि प्रस्तावित समान नागरिक संहिता (UCC) के दायरे से आदिवासी समुदायों को बाहर रखा जायेगा. PESA (अनुसूचित क्षेत्रों में पंचायत विस्तार) का क्रियान्वयन सुनिश्चित कर मुखियाओं एवं पंचायती राज संस्थाओं को सशक्त बनाएंगे. वन अधिकार अधिनियम का प्रभावी कार्यान्वयन और वन अधिकार पट्टों का वितरण सुनिश्चित करेंगे. विशेष रूप से आदिवासी और अनुसूचित जाति समुदायों के खिलाफ वनविभाग द्वारा दर्ज छोटे मुकदमों की समीक्षा कर समाप्त करेंगे.

हम पलायन समाप्त करने के लिए झारखंड को कौशल विकास के हब के रूप में विकसित करेंगे. 5 लाख युवाओं के लिए 1 लाख वार्षिक वित्तीय सहायता के साथ ‘झारखंड इंटर्नशिप और स्किल ट्रेनिंग’ (IST) कार्यक्रम शुरू करेंगे.राज्य के सभी मौजूदा IST को हब-एंड-स्पोक मॉडल के माध्यम से उन्नत करेंगे और इनोवेशन हब स्थापित करेंगे. हर प्रमंडल में मिस्त्री और संबंधित कुशल कारीगरों के लिए अत्याधुनिक और उन्नत प्रशिक्षण प्रदान करेंगे.

हम झारखंड को भारत के शीर्ष पांच पर्यटन अनुकूल राज्य बनाने के लिए प्रमुख देवी मंदिरों को जोड़ते हुए भगवती सर्किट स्थापित करेंगे. बाबा वैद्यनाथ एवं बाबा बासुकीनाथ तीर्थक्षेत्र विकास योजना शुरू करेंगे जिसके अंतर्गत तीर्थयात्रा सुविधाओं में सुधार, श्रावणी मेला को बढ़ावा और साहिबगंज में गंगा नदी के किनारे को सांस्कृतिक केंद्र में बदलना शामिल होगा.• महत्वपूर्ण आदिवासी नायकों के स्मारक स्थलों को जोड़ते हुए आदिवासी सर्किट बनाएंगे.झारखंड को इको टूरिज्म राजधानी’ बनाएंगे, होमस्टे का विस्तार करेंगे, सांस्कृतिक प्रचार करेंगे, और बेतला राष्ट्रीय उद्यान को शीर्ष इकोटूरिज्म गंतव्य में बदलेंगे.

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